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जानें आखिर क्या है 108 अंक के पीछे छिपा रहस्य

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जब भी हम धर्म की चर्चा करते हैं तब 108 अंक का जिक्र ज़रूर होता है। इस अंक को केवल हिंदू धर्म में ही नहीं बल्कि अन्य धर्मों में भी बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त है। मंत्रों का 108 बार जाप करना, इसके लिए 108 मोतियों की माला का उपयोग करना, 108 बार मंदिर की परिक्रमा करना आदि।

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आइए जानते हैं क्या है इस संख्या का महत्व

1. भगवान शंकर द्वारा किया जाने वाला अलौकिक नृत्य होता है तांडव। जब भगवान अत्यंत क्रोधित हो जाते हैं तब वो यह नृत्य करते हैं। इस नृत्य में कुल 108 मुद्राएं होती हैं। इतना ही नहीं महादेव के पास कुल 108 गण भी हैं, यही कारण है कि लिंगायत 108 मोतियों वाली माला का उपयोग करते हैं।

2. वृंदावन में 108 गोपियों का जिक्र किया गया है। 108 मनकों के साथ-साथ इन गोपियों के नामों का जाप, जिसे नामजाप कहते हैं को बहुत ही पवित्र और शुभ माना जाता है। श्रीवैष्णव धर्म में विष्णु के 108 दिव्य क्षेत्रों को बताया गया है जिन्हें '108 दिव्यदेशम’ कहा जाता है।

3. गंगा नदी जिसे हिंदू धर्म में बहुत पवित्र माना जाता है, वह 12 डिग्री के देशांतर और 9 डिग्री के अक्षांश पर फैली हुई है। अगर इन दोनों अंकों को गुना किया जाए तो 108 अंक मिलता है।

4. पृथ्वी और सूर्य के बीच की दूरी सूर्य के व्यास के 108 गुना है। इसी प्रकार पृथ्वी और चंद्रमा के बीच की दूरी भी चंद्रमा के व्यास का 108 गुना है।

5. कहते हैं मनुष्य में कुल 108 भावनाएं होती हैं जिसमें से 36 भावनाओं का सम्बन्ध हमारे अतीत से, 36 का सम्बन्ध वर्तमान से और 36 का सम्बन्ध भविष्य से होता है। वहीं दूसरी ओर बौद्ध धर्म में 108 प्रकार के गुण विकसित करने और 108 प्रकार के अवगुणों से बचने के लिए भी मनुष्य को कहा जाता है।

6. जैन धर्म के अनुसार छः प्रकार की इंद्रियां हैं- सुनना, सूंघना, स्वाद, स्पर्श, दृष्टि और चेतना। इन इंद्रियों को उनके द्वारा दी जाने वाली भावनाओं के आधार पर आगे विभाजित किया जा सकता है, यह सुखद, दर्दनाक या तटस्थ है। छः इंद्रियां तीन प्रकार की भावनाएं उत्पत्ति के प्रकार और तीन प्रकार के समय को गुना किया जाएं तो बनता है 108 अंक।

7. रुद्राक्ष की माला में 108 मनके होते हैं, मंत्रों का जाप 108 बार किया जाता है। ईश्वर का नाम 108 बार लेना भी शुभ माना जाता है।

8. तिब्बती बौद्ध धर्म में उपयोग होने वाली माला में 108 मोती हैं और वे इसे अपनी कलाई के चारों ओर बांध कर रखते हैं।

9. जापान के बौद्ध मंदिरों में, घंटों को नए साल का स्वागत करने और पुराने को समाप्त करने के लिए 108 बार बजाया जाता है। यह 108 सांसारिक प्रलोभन से संबंधित है। मनुष्य का लक्ष्य इसे हराकर मोक्ष प्राप्त करना होता है।

10. समुद्र मंथन के समय जब क्षीर सागर पर मंदार पर्वत पर बंधे वासुकि नाग को देवता और असुरों ने अपनी-अपनी ओर खींचा था तब उसमे 54 देव और 54 राक्षस, कुल मिलाकर 108 लोग ही शामिल थे।

11. बोधिसत्व महामती ने भी भगवान् बुद्ध से 108 सवाल पूछे थे। इसके अलावा बौद्ध धर्म 108 निषेधों को भी बताता है। कई बौद्ध मंदिरों में सीढ़ियां भी 108 रखी गई हैं।

12. दान या चंदा देते समय यहूदी पहले 18 से गुणा करते हैं, जिसका संबंध हिब्रू भाषा में चाइ अर्थात, जीवन या जीवित से होता है। 108 अंक भी 18 से गुणा होता है और इस अंक में 1 और 8 दोनों ही संख्याएं होती हैं। ईसाई धर्म की पुस्तक के पहले खंड जिनीसेस में इस बात का उल्लेख मिलता है कि इसाक की मौत 108 वर्ष की उम्र में हुई थी।

13. मार्शल आर्ट की चीनी शाखा, दक्षिण भारत की शाखा के उस सिद्धांत को स्वीकार करती है जो 108 प्रेशर प्वॉइंट्स के होने की बात कहती है।

14. 108 डिग्री फ़ारेनहाइट शरीर का आंतरिक तापमान होता है इससे अधिक गर्म होने के कारण मानव अंग विफल हो सकते हैं।

15. सिख धर्म में ऊन की पवित्र माला है जिसमें 108 गांठें होती हैं।

16. संस्कृत भाषा में 54 वर्णमाला है। इनमें एक स्त्री और दूसरा पुरुष रूप है। दोनों रूपों के अक्षरों की संख्या जुड़कर 108 हो जाती है।

17. खेल और साहित्य जगत में भी 108 अंक को महत्वपूर्ण माना जाता है।

English summary

Significance Of The Number 108

The number 108 appears numerous times in the religious scriptures and discussions. Read on to know the significance of this number.
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