Just In
- 59 min ago LokSabha Chunav 2024 : सही करो मतदान तो, हो उत्तम सरकार... इन संदेशों से लोगों को वोटिंग के लिए करें प्रेरित
- 1 hr ago नारियल पानी Vs नींबू पानी, गर्मियों में हाइड्रेड रहने के लिए क्या पीना है ज्यादा फायदेमंद?
- 3 hrs ago Mukesh Ambani Quotes On Success: हर युवा को प्रेरित करते हैं मुकेश अंबानी के ये विचार
- 4 hrs ago Happy Birthday Mukesh Ambani: बुलंदियों पर पहुंचकर भी जड़ों को न भूलने वाले मुकेश अंबानी को दें जन्मदिन की बधाई
Don't Miss
- News लोकसभा चुनाव 2024: CM मोहन यादव ने की जनता से मतदान करने की अपील
- Movies 'किसी के बाप की इंडस्ट्री..' विद्या बालन ने नेपोटिज्म पर कह डाली ऐसी बात, कइयों को लगेगी मिर्ची!
- Finance Bangalore के लोगों को मिल सकती है चिलचिलाती गर्मी से राहत, आज हो सकती है तेज बारिश
- Automobiles ये हैं देश की टॉप-3 कॉम्पैक्ट SUV! डिजाइन से लेकर फीचर तक में बवाल, Hyundai Creta का है बोलबाला!
- Technology अब यूजर्स Google Drive के वेब वर्जन में कर सकेंगे Dark Mode का यूज, आंखों पर नहीं पड़ेगा जोर
- Education Jharkhand Board 10th Result 2024: कल आयेगा झारखंड बोर्ड 10वीं का परिणाम, कैसे चेक करें JAC Matric Result
- Travel बोरिंग जिंदगी से चाहिए ब्रेक तो घूम आएं ये 6 बटरफ्लाई पार्क, जहां फूलों में रंग भरती हैं तितलियां
- Sports Japan Open 2023: सेमीफाइनल में पहुंचे लक्ष्य सेन, एचएस प्रणय की विक्टर एक्सेलसन से भिड़ंत आज
पैसिव स्मोकिंग से भी मरते हैं कई लोग
दुनिया में ऐसे कई लोग हैं जो बिना सिगरेट पिये ही उसके धुएं से शिकार हो रहे हैं। पैसिव स्मोकिंग को सेकेंड हैंड स्मोकिंग भी कहते हैं। अगर आपको लगता है कि आपके बगल में बैठा आपका दोस्त सिगरेट फूंक रहा है तो इससे आपके स्वास्थ्य पर कोई फरक नहीं पडे़गा, तो ऐसा सोंचना छोड़ दीजिये। विश्व स्वास्थ्य संगठन का कहना है कि हर साल पैसिव स्मोकिंग से 6 लाख लोग मर रहे हैं जिनमें डेढ़ लाख से अधिक बच्चे हैं।
पैसिव स्मोकिंग उनके लिये सबसे ज्यादा खतरनाक होती है जिसके घर में खुद कोई एक सदस्य स्मोकिंग करता है। ऐसे में घर में अन्य सदस्यों को बिना खता के ही बीमारी लग जाती है। पैसिव स्मोकिंग से न केवल बच्चे ही बल्कि बडे़ और महिलाएं भी बहुत हद तक शिकार होती हैं। पैसिव स्मोकिंग के कारण विश्व स्वास्थ्य संगठन के आकलन के अनुसार पौने चार लाख लोग दिल की बीमारियों के कारण मरते हैं तो डेढ़ लाख से अधिक लोग सांस की बीमारी के कारण। इसके अलावा 37 हजार लोग अस्थमा से और साढ़े 21 हजार फेफड़े के कैंसर से मरते हैं।
आइये जानते हैं कि पैसिव स्मोकिंग यानी सेकेंड हैंड स्मोकिंग करने से हमारे स्वास्थ्य पर क्या असर पड़ता है। साथ ही यह लेख उन्हें भी पढ़ना चाहिये जो खुद धूम्रपान करने की बुरी लत में फंसे हुए हैं और जाने अनजाने ही अपने परिवार और दोस्तों के दुश्मन बन बैठे हैं।
दिल की बीमारी बढने का चांस
चाहे आप स्मोकिंग करते हो या नहीं, सिगरेट पीने से आपको हृदर रोग हो सकता है। वे लोग जो दिनभर ऐसे घर में बंद रहते हैं जहांद सिगरेट का धूआं भरा रहता है, तो उन लोगों को हृदय रोग जल्दी होता है।
अस्थमा
अगर आपके बच्चों की उम्र 18 से कम है तो उन्हें सिगरेट के धूएं से दूर रखें।
ब्लड़ प्रेशर
केवल 30 मिनट तक सिगरेट के धूएं के सर्पक में रहने से आपका बीपी, हार्ट रेट और खून का दौरा कई गुना बढ़ सकता है।
फेफडे़ का कैंसर
साढ़े 21 हजार लोग फेफड़े के कैंसर से मरते हैं।
स्तन कैंसर
लड़कियों को सिगरेट पीना काफी नुकसान कर सकता है क्योंकि इससे स्तन कैंसर होता है।
मां बनना मुशकिल
सकेंड हैंड स्मोकिंग करने से आपको कंसीव करने में परेशानी आ सकती है।
भीषण कफ
वे बच्चे जो घर में पैसिव स्मोकिंग का शिकार होते हैं, उन्हें भीषण कफ की शिकायत होती है।
मिसकैरेज
प्रेगनेंट महिलाओं को न तो सिगरेट पीना चाहिये और न ही उसके धुएं के सपर्क में रहना चाहिये। इससे मिसकैरेज होने के चांस बढ़ जाते हैं।
गर्भावस्था के दौरान
धूआं गर्भावस्था के दौरान परेशानी पैदा कर सकता है। यह असमय बच्चे का जन्म, कम वजन वाला बच्चा और बच्चे की मौत का भी जिम्मेदार हो सकता है।