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क्या होती है पैनसेक्सुअलिटी, LGBTQ कम्युनिटी से कैसे अलग होते है इस सेक्सुअलिटी के लोग
साल 2008 फिल्म 'रॉक ऑन' फेम मोनिका डोगरा ने हाल ही में एक इंटरव्यू के दौरान एक्ट्रेस ने अपनी सेक्सुलिटी को लेकर खुलासा किया कि वह पैनसेक्सुअल हैं। आप भी सोच रहे होंगे कि पैनसेक्सुल क्या होता है? गे, लेस्बियन और बाइसेक्सुअल के बारे में कई लोगों ने सुना होगा, लेकिन पैनसेक्सुअल के बारे में बहुत कम लोग जानते हैं। आइए जानते है पैनसेक्सुअल और बाइसेक्सुअल में क्या अंतर होता है।

पैनसेक्सुअल
पैनसेक्सुअल वो लोग होते हैं, जो हर तरह के जेंडर की तरफ आकर्षित होते हैं। इस कैटेगरी के लोग पुरुष, स्त्री, गे, लेस्बियन और बाइसेक्सुअल हर सेक्सुअलिटी वाले लोगों की तरफ आकर्षित होते हैं। ऐसे लोगों को जितने पुरुष पसंद होते हैं, उतनी ही स्त्री, गे और लेस्बियन पसंद होते हैं। सही मायने में कहें तो ऐसे लोगों के लिए जेंडर कोई मायने नहीं रखता है। वे किसी भी जेंडर के साथ रिलेशन बनाने में हिचक महसूस नहीं करते हैं।

बाइसेक्सुअल
कई बार लोग पैनसेक्सुअल और बाइसेक्सुअल को एक ही समझ बैठते हैं। जबकि ऐसा नहीं हैं। इस कैटेगरी में ऐसे लोग आते हैं, जो पुरुष और महिला दोनों के साथ यौन संबंध स्थापित करने की चाहत रखते है और जिन्हें महिला और पुरुष दोनों में दिलचस्पी होती हैं।

पैनसेक्सुअल और LGBTQ कम्युनिटी के झंडे में अंतर
LGBTQ यानी लेस्बियन, गे, बाइसेक्सुअल, ट्रांसजेंडर और क्वीर कम्युनिटी और पैनसेक्सुअुल कम्युनिटी के झंडे में अंतर होता है। जिसका सीधा मतलब है कि पैनसेक्सुअल से जुड़े लोग खुद को LGBTQ कम्युनिटी से अलग समझते हैं।
पैनसेक्सुअलिटी के झंडे में मैजेंटा, येलो और सियान शेड्स हैं। मैजेंटा महिलाओं का प्रतिनिधित्व करता है, पीला गैर-बाइनरी के लिए है, और सियान पुरुषों के लिए है। वहीं LGBTQ को रेनबो फ्लैग भी कहते हैं, इस इंद्रधनुष सा दिखने वाले झंडे में छह चटकीले लाल, ऑरेंज, पीला, नीला,हरा और बैंगनी रंग शामिल है। ये रंग लाल: जिंदगी, नारंगी: इलाज, पीला: सूरज की रोशनी, हरा: प्रकृति, नीला: सौहार्द, बैंगनी: इंसानी रूह का प्रतीक है। हालांकि, बाद में इन 8 रंगों में से बैंगनी रंग हटा दिया गया।

कई प्रकार की होती है सेक्सुअलिटी
होमोसेक्सुअल : वे लोग होते है जो समान लिंग के प्रति भावनात्मक और यौन आकर्षण महसूस करते हैं। ऐसे लोगों को होमोसेक्सुअल कहा जाता है। आम बोलचाल की भाषा में ऐसे लोगों को गे या होमो कहा जाता है।
Demisexual: इस स्थिति में इंसान जब किसी के साथ भावनात्मक रूप से जुड़ता है तब ही वह उसके साथ रोमांटिक संबंध स्थापित कर पाता है।
Sapiosexual: इस कैटेगरी में इंसान किसी दूसरे की बुद्धि से प्रभावित होकर उससे सेक्सुअली लगाव महसूस करने लगता है।
पॉलीसेक्सुअल: ऐसी सेक्सुअलिटी वाले लोग बाइसेक्सुअल और पैनसेक्सुअल की बीच की स्थिति में आते हैं। इसमें वे कई तरह के लिंगों से आकर्षित होते हैं। यानी वे ट्रांसजेंडर्स, थर्ड जेंडर्स या इंटरसेक्स लोगों से भी आकर्षित हो सकते हैं।
Asexual: इस कैटेगरी में आने वाले लोगों में किसी भी तरह की यौन इच्छा नहीं होती है।
Graysexual: ऐसी सेक्सुअलिटी के लोगों में बहुत कम सेक्स ड्राइव होती है। Graysexual और asexual एक नहीं होते हैं। ऐसे लोग किसी खास समय पर किसी खास व्यक्ति के प्रति सेक्सुअली आकर्षित हो पाते है।
Androgynsexual: जिनकों पुरुष और महिला दोनों आकर्षक लगते हैं। ऐसे लोगों में feminine और masculine दोनों लक्षण होते हैं।