Just In
- 8 min ago Curd Benefits For Skin: रोजाना चेहरे पर दही मलने से पिग्मेंटेशन और मुंहासे की हो जाएगी छुट्टी, इस तरह लगाएं
- 1 hr ago IPL 2024: कौन हैं क्रिकेटर केशव महाराज की स्टाइलिश वाइफ लेरिशा, इंडिया से हैं स्पेशल कनेक्शन
- 3 hrs ago 'हीट वेव' से बचाने के लिए चुनाव आयोग ने जारी की एडवाइजरी, सेफ रहने के लिए हाइड्रेड रहें और ये काम न करें
- 5 hrs ago तपती गर्मी में भी नहीं सूखेगा तुलसी का पौधा, बस अपनाएं ये छोटे-छोटे टिप्स
Don't Miss
- News Mukhtar Ansari: माता-पिता की गोद में अब चैन से सोएगा बेटा मुख्तार! भतीजा खुदवा रहा है चाचा की कब्र
- Movies दो साल में टूटी शादी, बॉयफ्रेंड की हुई कैंसर के कारण मौत, 72 साल की उम्र में ऐसे जी रही ये हसीना
- Travel खुल गया है लद्दाख पहुंचने का नया रास्ता, मनाली से लेह को जोड़ने वाला यह है सबसे छोटा रूट
- Technology 6000mAh बैटरी, 70W चार्जिंग के साथ TECNO POVA 6 Pro भारत में लॉन्च, जानें कीमत
- Finance 4 ETF Mutual Fund ने 3 साल में इन्वेस्टरों को दिया जबरदस्त रिटर्न
- Education एनआईओएस कक्षा 10वीं, 12वीं हॉल टिकट 2024 हुए जारी, जानें कैसे करें डाउनलोड
- Automobiles Tesla को टक्कर देने के लिए Xiaomi ने लॉन्च की पहली इलेक्ट्रिक कार, सिंगल चार्ज में मिलेगी 810KM की रेंज
- Sports Japan Open 2023: सेमीफाइनल में पहुंचे लक्ष्य सेन, एचएस प्रणय की विक्टर एक्सेलसन से भिड़ंत आज
भारत में सेक्शन 377 रद्द, जानिए क्या है दुनियाभर में समलैंगिकता को लेकर कानून
भारत में जहां गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट ने ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुएधारा 377 को खत्म करने का आदेश दिया है। वहीं दुनिया के 25 से ज्यादा ऐसे देश हैं जहां समलैंगिकों की शादी को बहुत पहले ही मान्यता मिल चुकी है। बेल्जियम ने वर्ष 2003 में ही समलैंगिकों के बीच शादी को अपने यहां कानूनी मान्यता दे दी थी। वहीं अमेरिका में इसे 2015 में तो इंग्लैंड में वर्ष 2013 में कानूनी मान्यता दे दी गई थी।
करीब 27 देशों में समलैंगिकों की शादी को मान्यता प्राप्त है। वहीं संयुक्त राष्ट्रसंघ के मुताबिक विश्व के 76 देशों में इसको लेकर कोई स्पष्ट कानून नहीं है। आइए जानते है देशभर में समलैंगिक समानता पर बने कानूनों के बारे में।
क्या था सेक्शन 377?
भारत में भी आईपीसी की धारा 377 के तहत 2 लोग आपसी सहमति या असहमति से अननैचुरल सेक्स करते हैं,और दोषी करार दिए जाते है तो ऐसे लोगों को 10 साल या उम्र भर की सजा हो सकती है। लेकिन अब ये कानून रद्द हो चुका है।
तुर्की
1858 में ओटोमन खिलाफत ने समान सेक्स संबंधों को मान्यता दी थी। तुर्की में आज भी होमोसेक्सुल को मान्यता प्राप्त है। यहां समलैंगिकों और ट्रांसजेंडरों के अधिकारों को मान्यता दी जाती है। हालांकि संविधान से रक्षा ना मिलने के कारण इनके साथ भेदभाव आम है।
इंडोनेशिया
यौन संबंध 1945 का कानून साफ तौर पर यौन संबंध पर पाबंदी नहीं लगाता। इंडोनेशिया में एशिया की सबसे पुरानी एलजीबीटी संस्था है जो कि 1980 से सक्रिय है। भेदभाव के बावजूद यहां का समलैंगिक समुदाय अपने अधिकारों के लिए लड़नें में पीछे नहीं रहता।
माली
माली उन चुनिंदा अफ्रीकी देशों में से है जहां एलजीबीटी संबंधों को कानूनी दर्जा प्राप्त है। हालांकि यहां के संविधान में सामाजिक स्थलों पर यौन संबंध पर मनाही है। लेकिन माली में भी एलजीबीटी समुदाय के साथ बड़े स्तर पर असामनता का व्यवहार किया जाता है।
बहरैन
इस खाड़ी देश में समलैंगिक संबंधों को 1976 में मान्यता मिल गई थी। हालांकि अभी भी बहरैन में क्रॉस ड्रेसिंग यानि लड़कों का लड़कियों की तरह कपड़े पहनने पर रोक है।
नीदरलैंड
2000 में नीदरलैंड समलैंगिक की शादी को मान्यता देने वाला पहला देश बना। इस कानून के पारित होते ही 2001 में चार समलैंगिक जोड़ों ने शादी की।
बेल्जियम
बेल्जियम में 2003 में समलैंगिक संबंधों को कानूनी मंजूरी दे दी गई थी। इसके बाद 2006 में समलैंगिक जोड़ों को बच्चें गोद देने की मंजूरी
जॉर्डन
एलजीबीटी समुदाय के अधिकारों की रक्षा की दिशा में जॉर्डन का संविधान सबसे प्रगतिशील माना जाता है। 1951 में समान सेक्स संबंधों के कानूनी होने के बाद सरकार ने समलैंगिकों और ट्रांसजेंडरों के सम्मान के लिए होने वाली हत्याओं के खिलाफ भी सख्त कानून बनाए।
यूनाइटेड स्टेट्स
2015 में कानूनी तौर पर समलैंगिक संबंधों को कानूनी मान्यता मिलने के बाद #LoveWins हैशटेग पूरी दुनियाभर के सोशल मीडिया में छा गया था।
ऑस्ट्रेलिया
ऑस्ट्रेलिया में 2017 में समलैंगिक विवाह के पक्ष में वोट करवाए गए थे। लगभग 62 प्रतिशत लोनों ने इस कानून के पक्ष में वोट दिया था। इस सर्वेक्षण के बाद सरकार ने इसे साल खत्म होते होते समलैंगिक विवाह को लेकर कानून पारित कर दिया।
इंग्लैंड, वेल्स
2013 में यूके के उपप्रधानमंत्री निक क्लेग ने समलैंगिकों के संबंधों पर कानूनी मुहर लगाते हुए कहा था " इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता है कि आप कौन हो और किससे प्यार करते हो, हम सब समान है।"
स्पेन
2005 में स्पेन में समलैंगिक जोड़ों के लिए बने नए कानून के अंतर्गत उन्हें विवाह करने के साथ बच्चों को गोद लेने का अधिकार भी है।
नॉर्वे
समान-सेक्स विवाह को वैधता देने के एक साल बाद, नॉर्वे के लूथरन चर्च के पादरी ने 2009 में समान-सेक्स जोड़ों को शादी करने की अनुमति भी दे दी।
समलैंगिक संबंध मतलब मौत की सजा
जहां एक ओर कई देश समलैंगिक संबंधों को लेकर उदारवादी बन रहे हें और कानूनी मान्यता दे रहे हैं वहीं कुछ देश ऐसे है भी जहां समलैंगिक संबंधों का मतलब है सजाए मौत। अफगानिस्तान, पाकिस्तान, कतर, यूएई और मॉरिटानिया में समलैंगिकता पर कानून बहुत कड़े है। यहां सिर्फ मौत की सजा सुनाई देती है।